कोरोना वायरस यानी COVID-19 की शुरुआत Wuhan से नहीं हुई, ऐसा वैश्विक स्वास्थ्य संस्था, WHO का कहना है।
Report Ring News
कोरोना वायरस की शुरुआत से ही अमेरिका जैसे कुछ देश वायरस के स्रोत को लेकर भ्रम फैला रहे हैं। वायरस का प्रकोप बढ़ने के साथ ही इन देशों ने चीन पर आरोप तेज कर दिए। अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप व विदेश मंत्री माइक पोम्पेयो कहते रहे हैं कि वायरस वूहान की लैब में तैयार किया गया है। इस सबके बीच तमाम वैज्ञानिक व शोधकर्ता कह चुके हैं कि वायरस कहां से निकला इसे स्पष्ट रूप से नहीं कहा जा सकता है। इस बारे में गहन वैज्ञानिक अध्ययन की जरूरत है। कई विशेषज्ञ इस बात को खारिज कर चुके हैं कि वायरस कृत्रिम रूप से लैब में तैयार किया गया।
इसके साथ ही अब डब्ल्यूएचओ की ओर से नया बयान आया है, जिसमें कहा गया है कि चीन के वूहान शहर में भले ही वायरस के शुरुआती मामले सामने आए, इसका मतलब यह नहीं है कि वूहान ही वायरस का शुरुआती स्थल है। डब्ल्यूएचओ के आपात स्वास्थ्य परियोजना के प्रमुख माइकल रयान ने यह बात कही है। उनके मुताबिक वूहान में संक्रमण का पता इसलिए चला क्योंकि वहां पर इसके लिए सही निगरानी व्यवस्था स्थापित की गयी थी।
इससे पहले कुछ रिपोर्ट्स सामने आयी थी, जिनमें कहा गया था कि वूहान से बहुत पहले ही दुनिया के कुछ देशों में वायरस मौजूद था। जिनमें ब्राजील और स्पेन जैसे देश शामिल रहे हैं। बावजूद इसके अमेरिकी नेता बार-बार अपनी ज़िम्मेदारी से बचने के लिए चीन को घेरने की कोशिश कर रहे हैं।
वहीं इस बीच अमेरिका में कोरोना वायरस का संक्रमण लगातार बढ़ता जा रहा है, डेढ़ लाख से अधिक लोगों की जान जा चुकी है, जबकि 47 लाख से ज्यादा लोग संक्रमित हुए हैं। वहीं नवंबर में अमेरिका में चुनाव होने हैं, जिसका दबाव ट्रंप प्रशासन पर साफ दिख रहा है, इसलिए वह लगातार चीन पर हमले करने में व्यस्त हैं।
उधर डब्ल्यूएचओ प्रमुख ने यह कहकर वैश्विक चिंता बढ़ा दी है कि कोविड-19 के इलाज के लिए कोई दवा मौजूद नहीं है, शायद भविष्य में भी नहीं तैयार हो पाएगी। ऐसा में वायरस से निपटना आसान नहीं होने वाला है।
साभार-चाइना मीडिया ग्रुप


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