नई दिल्ली। पराली को अब फालतू की चीज समझकर जलाया नहीं जाएगा बल्कि पराली का उपयोग अब इथेनॅाल बनाने में किया जा रहा है। आने वाले समय में इसी पराली का यूज हवाई जहाज, फाइटर जेट और हेलीकॉप्टर उड़ाने में किया जाएगा। हरियाणा के पानीपत में इंडियन ऑयल का एक प्लांट शुरू भी हो चुका है। केन्द्रीय सड़ एवं परिवहन मंत्री नितिन गडकरी ने कहा कि देश में डीजल की खपत को ना के बराबर करने पर काम चल रहा है। भारत को पॅाल्यूशन फ्री बनाने के लिए पराली से बॉयो ईंधन बनाने के लिए एक हजार से ज्यादा प्लांट लगाने की सरकार की योजना है। साथ ही इससे लगभग पांच लाख लोगों को सीधे तौर पर रोजगार मिलने की भी संभावना ह।
एसीएमए के वार्षिक सत्र में केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने कहा कि देश में अब पराली जलाई नहीं जाती है, बल्कि पानीपत में शुरू हुए इंडियन ऑयल प्लांट पर एक लाख लीटर इथेनॅाल बनाया जा रहा है। वह वो दिन दूर नहीं जब आप लोग इसी इथेनॅाल के उपयोग से बने ईंधन से चलने वाले हवाई जहाज में सफर करेंगे। अभी भी फाइटर जेट के ईंधन के रूप में 22 प्रतिशत मिश्रित फ्यूल उपयोग में लाया जा रहा है। गडकरी ने कहा कि आने वाले समय में 8 फीसदी बॉयो एविएशन फ्यूल, एविएशन फ्यूल में डालने की योजना है। वो दिन दूर नहीं जब किसानों द्वारा तैयार किए गए ईंधन पर कमर्शियल हवाई जहाज, फाइटर जेट और हेलीकॉप्टर चलेंगे।
गडकरी ने कहा कि देश में डीजल की खपत को ना के बराबर करने पर काम चल रहा है। भारत को पॅाल्यूशन फ्री बनाने के लिए पराली से बॉयो ईंधन बनाने के लिए एक हजार से ज्यादा प्लांट लगाने की सरकार की योजना है। ट्रैक्टर से लेकर हवाई उड़ान में बॉयो फ्यूल का यूज किया जाएगा। जिससे देश में अन्य देशों से आयात किये गए फ्यूल की निर्भरता कम होगी।


