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बिहार चुनाव: महागठबंधन ने जारी किया घोषणा पत्र, नाम दिया ‘तेजस्वी का प्रण’

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घोषणा पत्र में जितनी बातें कहीं गई हैं, सब लागू की जाएंगी- तेजस्वी

पटना। बिहार विधानसभा चुनाव 2025 के लिए महागठबंधन (इंडिया महागबंधन) ने मंगलवार को अपना साझा घोषणा पत्र जारी कर दिया है। घोषणा पत्र को ‘तेजस्वी का प्रण’ नाम दिया गया है। पटना के एक बड़े होटल में मंगलवार शाम महागठबंधन के घटक दलों के प्रमुख नेताओं ने अपने मुख्यमंत्री फेस तेजस्वी यादव के नेतृत्व में इसे जारी किया। तेजस्वी यादव ने कहा कि महागठबंधन के घोषणा पत्र में जितनी बातें कहीं गई हैं, वह सब लागू की जाएगी। हम लोगों को बिहार को बनाने का काम करना है। हम लोगों ने आपके सामने संकल्प पत्र रखा है। हम लोगों का प्रण है कि बिहार को नंबर वन कैसे बनाएं।
घोषणापत्र में महागठबंधन ने कहा कि जन स्वास्थ्य सुरक्षा योजना के तहत प्रत्येक व्यक्ति को 25 लाख रुपये तक का मुफ्त स्वास्थ्य बीमा प्रदान किया जाएगा और प्रत्येक परिवार को 200 यूनिट मुफ्त बिजली मिलेगी। सरकार बनने के 20 दिनों के भीतर राज्य के प्रत्येक परिवार के एक सदस्य को सरकारी नौकरी देने के लिए एक अधिनियम पारित किया जाएगा। घोषणापत्र जारी करने के दौरान महागठबंधन के डिप्टी सीएम चेहरे मुकेश सहनी ने कहा कि आज हमने नए बिहार के लिए संकल्प पत्र लॉन्च किया है। अगले 30-35 वर्षों तक हम बिहार के लोगों की सेवा के लिए काम करेंगे। हम जनता की सभी आकांक्षाओं को पूरा करेंगे। हम जनता से किए गए सभी वादों को पूरा करेंगे। राज्य की जनता महागठबंधन के समर्थन में खड़ी है और हम बिहार में सरकार बना रहे हैं, एनडीए का कोई ‘संकल्प’ नहीं है।

महागठबंधन का घोषणापत्र

– सरकार बनने के 20 दिनों के भीतर राज्य के प्रत्येक परिवार के एक सदस्य को सरकारी नौकरी देने के लिए एक अधिनियम पारित किया जाएगा।
– पुरानी पेंशन योजना (ओपीएस योजना) लागू की जाएगी।
– माई-बहन मान योजना के तहत महिलाओं को 1 दिसंबर से 2,500 रुपये प्रति माह और अगले पाँच वर्षों तक 30 हजार रुपए प्रति वर्ष की वित्तीय सहायता मिलेगी।
– प्रत्येक परिवार को 200 यूनिट मुफ्त बिजली मिलेगी।
– सभी अल्पसंख्यक समुदायों के संवैधानिक अधिकारों की रक्षा की जाएगी।
– वक्फ संशोधन विधेयक को स्थगित कर दिया जाएगा और वक्फ संपत्तियों के प्रबंधन को पारदर्शी बनाकर उसे और अधिक कल्याणकारी और लाभकारी बनाया जाएगा।
– बोधगया स्थित बौद्ध मंदिरों का प्रबंधन बौद्ध समुदाय के लोगों को सौंपा जाएगा।
– किसानों को न्यूनतम समर्थन मूल्य पर सभी फसलों की खरीद की गारंटी दी जाएगी और मंडी व बाज़ार समितियों को पुनर्जीवित किया जाएगा।
– संभाग, अनुमंडल और ब्लॉक स्तर पर मंडियाँ खोली जाएँगी। एपीएमसी अधिनियम को पुन: लागू किया जाएगा।
– जन स्वास्थ्य सुरक्षा योजना के तहत प्रत्येक व्यक्ति को 25 लाख रुपये तक का नि:शुल्क स्वास्थ्य बीमा प्रदान किया जाएगा।
– जनसंख्या के अनुपात में आरक्षण की सीमा को 50 प्रतिशत बढ़ाने के लिए विधानमंडल द्वारा पारित कानून को संविधान की नौवीं अनुसूची में शामिल करने हेतु केंद्र सरकार को भेजा जाएगा।
– पंचायत और नगर निकायों में अति पिछड़े वर्गों के लिए वर्तमान 20 प्रतिशत आरक्षण को बढ़ाकर 30 प्रतिशत किया जाएगा।
– अनुसूचित जातियों (एससी) के लिए यह सीमा 16 प्रतिशत से बढ़ाकर 20 प्रतिशत की जाएगी तथा अनुसूचित जनजातियों (एसटी) के लिए आरक्षण में आनुपातिक वृद्धि भी सुनिश्चित की जाएगी।
– हमारी सरकार अपराध के प्रति जीरो टॉलरेंस की नीति अपनाएगी। पुलिस अधीक्षक एवं थानेदारों के लिए निश्चित कार्यकाल निर्धारित किया जाएगा।
– मनरेगा में मौजूद 255 रुपए की दैनिक मजदूरी को बढ़ाकर 300 रुपए कर दिया जाएगा और 100 दिन के कार्य को बढ़ाकर 200 दिन कर दिया जाएगा।
– अति पिछड़ा अत्याचार निवारण अधिनियम पारित किया जाएगा। अनुसूचित जाति एवं जनजाति के 200 छात्राओं को छात्रवृत्ति के लिए विदेश भेजा जाएगा।
-माइक्रोफाइनेंस कंपनी द्वारा किस्त वसूली के दौरान प्रताडऩा को रोकने के लिए और मनमाने ब्याज दर पर नियंत्रण के लिए नियामक कानून लाया जायेगा।
-प्रतियोगिता परीक्षाओं के लिए फॉर्म एवं परीक्षा शुल्क समाप्त कर दिया जाएगा और परीक्षा केंद्र तक आने जाने के लिए मुफ्त यात्रा की सुविधा दी जाएगी।
– प्रत्येक अनुमंडल में महिला कॉलेज की स्थापना की जाएगी। 136 प्रखंडों में डिग्री कॉलेज नहीं है, वहां डिग्री कॉलेज खोले जाएंगे।
-शिक्षकों स्वास्थ्य कर्मियों सहित अन्य सेवाओं के कर्मियों के गृह जिला के 70 किलोमीटर के दायरे में स्थानांतरण एवं तैनाती से संबंधित सुसंगत नीति बनाई जाएगी।

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